चंडीगढ़ दिनभर
करनाल। धर्मरक्षक सिखों के गुरु श्री गुरु अर्जुन देव जी महाराज का याहीदी पर्व आज मनाया गया। जगह जगह मीठे पानी की छबीलें लगाई गई। गुरुद्वारा डेरा कार सेवा में डेरा कारसेवा के प्रमुख पंथ प्रचारक बाबा जत्थेदार सुक्खा सिंह की देख रेख में गुरमति समागम का आयोजन किया गया। इस अवसर पर सुबह पांच बजे से तीन बजे तथा शाम साढ़े छह बजे तक समागम हुआ। इस अवसर पर अटूट लंगर बरता गया। इस अवसर पर गुरुद्वारा डेरा कार सेवा के महासचिव जत्थेदार इंद्रपाल सिंह ने सिरौपा भेंट कर देश के जाने माने पंथ प्रचारक तथा एचएसजीपीसी के पूर्व प्रधान जत्थेदार बलजीत सिंह दादूवाल को सम्मानित किया। उन्होंने इस अवसर पर कहा कि गुरु अर्जुन देव जी ने मानवता की खातिर अपने जीवन की शहादत दी। उन्हें तपती रेत पर बिठाया गया।
मुगल शासकों ने उन पर अत्याचार किए लेंकिन उन्होंने अपना रास्ता नहीं बदला। उन्होंने कहा कि तानाशाह का कोई धर्म नहीं होता हैं। जब तक सत्ता धर्म के आधीन रहती हैं। धर्म नैतिकता और मूल्यों के आधार पर राज करती हैं जगब तक खालिस लोगों का राज रहता हैं। उन्होंने कहा कि नियति धर्म और धार्मिक गुरुओं को कठपुतली बनाने वालों को सजा देती हैं। इस अवसर पर श्री दरबार साहिब अमृतसर के हजूरी रागी गुरुदित्त सिंह,पौंटार साहिब के हजूरी रागी भाई ग्ररप्रीत सिंह, कबीश्री भाई प्यारा सिंह, प्रचारक भाई कंवलजीत सिंह,गुरुद्वारा मंजी साहिब के हैड ग्रंथी भाई अमृतपाल सिंह, नित्तनेम भाई मंजूर सिंहश् भाई गुरुप्रीत सिंह, ने गुरु की महिमा का गुणगान किया। स्टेज सेवा भाई दर्शन सिंह ने की।